दिल्ली के अलग अलग स्कूलों में आ रही बम से उड़ाने की धमकी के मामलों में दिल्ली पुलिस ने बड़ा खुलासा किया है. दिल्ली पुलिस के स्पेशल सीपी मधुप तिवारी के मुताबिक स्कूलों को यह धमकी ईमेल के जरिए दी जा रही थी और यह धमकी एक बच्चा दे रहा था. इस बच्चे की पहचान के बाद एक बार तो लगा कि परीक्षा रद्द कराने के लिए बच्चे ने यह हरकत की होगी, लेकिन जब बच्चे के बैक ग्राउंड खंगाली गई तो पता चला कि उसके पिता एक एनजीओ से जुड़े हैं और यह एनजीओ विभिन्न राजनीतिक दलों से प्रभावित रही है.
ऐसे में पुलिस अब यह जांच करने में जुट गई है कि इस तरह की धमकियों के पीछे कोई राजनीतिक साजिश तो नहीं. स्पेशल सीपी मधुप तिवारी के मुताबिक राजधानी के स्कूलों को काफी समय से धमकी भरे ईमेल मिल रहे थे. इसमें कहा जा रहा था कि स्कूल में बम प्लांट कर दिए गए हैं. इसी तरह की एक कॉल पिछले साल 12 फरवरी और हाल ही में 8 जनवरी 2025 को आई थी. पुलिस ने इस संबंध में केस दर्ज किया और टेरर एंगल से मामले की जांच शुरू की. इस दौरान जिस कंप्यूटर से ईमेल भेजा गया था, उसके आईपी एड्रेस के जरिए मेल भेजने वाले तक पुलिस पहुंच गई.
400 से अधिक स्कूलों को भेजा गया था मेल
पता चला कि यह मेल एक बच्चा भेज रहा था. बच्चे की पहचान करने के बाद पुलिस ने उसके लैपटॉप और मोबाइल फोन की फोरेंसिक जांच कराई गई. इसमें पता चला कि इस बच्चे ने एक दो नहीं, 400 से अधिक स्कूलों को ईमेल किया है. कई स्कूलों को तो एक से अधिक बार मेल भेजा गया है. पुलिस के मुताबिक बच्चे के पिता एक एनजीओ से जुड़े हैं और यह एनजीओ कई राजनीतिक पार्टियों की समर्थक रही है. यहां तक कि अफजल गुरू की फांसी के खिलाफ भी इस एनजीओ ने मुखर भूमिका निभाई थी.
एनजीओ की भूमिका खंगालने में जुटी पुलिस
पुलिस के मुताबिक अब पुलिस इस मेल कांड में बच्चे के पिता और उनके एनजीओ की भूमिका खंगाल रही है. पता किया जा रहा है कि यह मेल कांड कहीं पोलिटिकल मोटिवेटेड तो नहीं था? इसके इसमें देखा जा रहा है कि कहीं ये एनजीओ दिल्ली का माहौल खराब करने की कोशिश तो नहीं कर रही. दरअसल इस बच्चे द्वारा कुछ मेल परीक्षा के समय भेजे गए थे. वहीं कई मेल परीक्षा के समय के बाद भी भेजे गए. ऐसे में यह तो नहीं कहा जा सकता है कि बच्चे ने परीक्षा रद्द कराने के लिए यह मेल किया होगा. बल्कि संभावना है कि इस घटना के पीछे कोई लार्जर कॉन्सपिरेसी भी हो सकती है.
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