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उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम ने पूर्वांचल अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक में छापा मारा है. टीम ने बैंक के पूर्व प्रवर्तक रामबाबू शांडिल्य को गिरफ्तार किया है. ईडी की टीम बिहार नंबर की गाड़ियों से बैंक में पहुंची. दिनभर टीम की कार्रवाई से हड़कंप मचा रहा. बैंक पर करोड़ों रुपयों को गोलमाल किए जाने का आरोप है. आरबीआई ने बैंक का लाइसेंस भी निरस्त किया हुआ है.
पूर्वांचल अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक के नाम पर आम लोगों की गाढ़ी कमाई जो करीब 40 करोड़ के आसपास थी, उस रकम को बैंक के प्रवर्तक ने इस तरह से कुछ गोलमाल किया की मजबूरी में रिजर्व बैंक को भी लाइसेंस को निरस्त करना पड़ा. पूर्व प्रवर्तन सहित कई लोगों के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज कराया गया. हालांकि, बाद में रिजर्व बैंक ने 5 लाख तक के जमाकर्ताओं का करीब 12 करोड़ रुपए अब तक वापस कर चुकी है.
बैंक के पूर्व प्रवर्तक गिरफ्तार
ईडी ने बड़ी कार्रवाई करते हुए शुक्रवार देर रात पूर्व प्रवर्तक रामबाबू शांडिल्य को गिरफ्तार कर अपने साथ ले गई. गाजीपुर में अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक जिसका रिजर्व बैंक आफ इंडिया ने पहले ही फर्जीवाड़ा के मामले में लाइसेंस निरस्त कर दिया है. इसी बैंक के मुख्य शाखा पर शुक्रवार को बिहार नंबर की गाड़ी से ईडी की टीम ने दिनभर गोपनीय जांच के बाद बैंक के पूर्व प्रवर्तक रामबाबू शांडिल्य को गिरफ्तार कर लिया. गिरफ्तारी की पुष्टि पुलिस अधीक्षक डा. ईरज राजा ने की. उन्होंने बताया कि यह गिरफ्तारी मनी लाउंड्री मामले में हुई है.
2023 में कर दिया 43 करोड़ रुपयों का लोन
पूर्वांचल कोऑपरेटिव बैंक लिमिटेड की स्थापना सन 1989 जिला शासकीय अधिवक्ता रहे रामबाबू शांडिल्य के द्वारा की गई. जिसका मुख्य शाखा शास्त्री नगर कचहरी पर है. इसकी शाखाएं महाराजगंज, जंगीपुर, सैदपुर, मोहम्मदाबाद में भी खोली गईं. शुरू में तो इस बैंक का लेनदेन सब कुछ ठीक-ठाक रहा.
लेकिन साल 2023 में इस बैंक के द्वारा नियमों की अनदेखी करते हुए करीब 43 करोड रुपए का लोन कर दिया गया. आरबीआई ने जब इस बैंक की जांच कराई तब मामला सामने आया कि बैंक की तरफ से आरबीआई को गलत सूचनाओं भी भेजी गई हैं. क्योंकि 31 मई 2023 को एक करोड़ 97 लाख की एसएलआर प्रतिभूतिया दिखाई गई थी जबकि वह शून्य थी.
23 करोड़ रुपया फंसा
इन्हीं सब को देखते हुए आरबीआई ने इस बैंक की जमा एवं निकासी पर रोक लगा दिया था. हालांकि इस रोक लगाई जाने के बाद रिजर्व बैंक ने 912 खाताधारको के करीब 12 करोड़ 63 लाख रुपए वापस किए, जिनमें 5 लाख या उससे कम जमा थे. लेकिन मौजूदा समय में अभी भी 1691 खाता धारकों का करीब 23 करोड़ रूपया बैंक में फंसा हुआ है.
2023 में आरबीआई की जांच रिपोर्ट पर पूर्वांचल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड के पूर्व प्रवर्तक राम बाबू शाण्डिल्य, पूर्व सीईओ विवेक पांडेय, प्रबंध कमेटी, लेखा परीक्षक मेसर्स विजय के. शर्मा एंड कंपनी, बैंक प्रोप्राइटर और संबंधित पार्टी व फर्म के खिलाफ शहर कोतवाली में 30 अगस्त 2023 में मुकदमा दर्ज कराया गया था. इस पूरे प्रकरण की जांच को ऑपरेटिव सेल वाराणसी कर रही है.
ED की टीम ने मारा छापा
इन्हीं पूरे मामले को लेकर बैंक के मुख्य शाखा पर बिहार नंबर की दो गाड़ियां और लखनऊ नंबर की गाड़ियों से अधिकारी आए हुए थे. साथ इस सुरक्षाकर्मी की भी इस जांच के दौरान किसी को भी बैंक के अंदर जाने की अनुमति नहीं दे गई, जिसके कारण पूरे दिन पता नहीं चल पाया कि किस तरह की छापेमारी या जांच प्रक्रिया चल रही है.
वहीं, देर शाम SIT के द्वारा जांच की कार्रवाई की जानकारी भी आई थी. लेकिन देर रात जब ईडी ने पूरी करवाई किया और इसकी जानकारी पुलिस को दी तब पुलिस अधीक्षक डॉ ईरज राजा ने बताया कि यह कार्रवाई ईडी की टीम के द्वारा की गई थी. उन्होंने बताया कि टीम ने बैंक के पूर्व प्रवर्तक रामबाबू शांडिल को गिरफ्तार कर अपने साथ ले गई है.
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