शरद पवार हर रोज 6 से 7 रैली कर रहे हैं.
84 साल के शरद पवार रैली करने के मामले में महाराष्ट्र के सभी दिग्गज नेताओं को पीछे छोड़ दिया है. देवेंद्र फडणवीस, एकनाथ शिंदे, नाना पटोले और उद्धव ठाकरे के मुकाबले शरद पवार हर दिन डेढ़ गुना ज्यादा रैली कर रहे हैं. पवार की रैलियों की संख्या महाराष्ट्र की सियासत में अब चर्चा का विषय बनी हुई हैं.
कहा जा रहा है कि अपना आखिरी चुनाव लड़ रहे पवार महाराष्ट्र के दंगल में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ना चाह रहे हैं, इसलिए हर रोज सबसे ज्यादा रैली कर रहे हैं.
औसतन 6-7 रैली कर रहे हैं शरद
84 साल के शरद पवार महाराष्ट्र चुनाव में औसतन 7 रैली कर रहे हैं. पवार एनसीपी उम्मीदवारों के साथ-साथ कांग्रेस और शिवसेना (यूबीटी) कैंडिडेट के लिए भी रैली कर रहे हैं. पवार अपनी रैली में महाराष्ट्र के बेहतर भविष्य को मुख्य मुद्दा बना रहे हैं.
12 नवंबर को शरद पवार ने डिंडौरी, सुरगाना, जलगांव ग्रामीण, मुक्ताईनगर,जामनेर, सिंदखेडा में रैली की. पवार की इन रैलियों में भारी भीड़ नजर आई.
एनसीपी (शरद) के मुताबिक 13 नवंबर को शरद पवार ने निफाड, येवला, कोपरगाव, नासिक-पूर्व जैसी सीटों पर रैली की. पवार ने इसके अलावा लीगल सेल के साथ भी एक मीटिंग की, जो सुप्रीम कोर्ट से संबंधित था.
14 नवंबर को शरद पवार ने सिन्नर, राहुरी, जुन्नर, आंबेगांव, भोसरी, खेड-आलिंदी और चिंचवड में रैली की. सीनियर पवार ने 5 रैली एनसीपी (शरद) और 2 रैली शिवसेना (यूबीटी) के पक्ष में की. इन रैलियों में गद्दारी और महाराष्ट्र के विकास को पवार ने प्रमुखता से उठाया.
उद्धव कर रहे हर रोज 4 रैली
शिवसेना (यूबीटी) के सुप्रीमो उद्धव ठाकरे हर रोज 4-4 रैली कर रहे हैं. कहा जा रहा है कि बीमारी की वजह से उद्धव दिन में सिर्फ 4 ही रैलियां कर पा रहे हैं. शिवसेना (यूबीटी) के मुताबिक 15 नवंबर को उद्धव की वैजापुर, नांदगांव, मालेगांव-बाहरी, सिल्लोड में रैली प्रस्तावित है.
14 नवंबर को उद्धव ने नेवासा, कन्नड, श्रीगोंदा, छत्रपति संभाजीनगर में रैली की. इसी तरह उद्धव ने 13 नवंबर को भी 4 रैलियों को संबोधित किया. उद्धव अभी तक सिर्फ शिवसेना (यूबीटी) उम्मीदवारों के लिए रैली कर रहे हैं.
इन रैलियों में उद्धव के निशाने पर केंद्र, एकनाथ शिंदे और देवेंद्र फडणवीस रहते हैं. उद्धव गद्दारी और महाराष्ट्र स्वाभिमान के मुद्दे पर लोगों को साध रहे हैं.
फडणवीस भी कर रहे 4 रैली
महाराष्ट्र बीजेपी के सबसे बड़े नेता देवेंद्र फडणवीस भी हर दिन औसतन 4 रैली कर रहे हैं. फडणवीस के दफ्तर के मुताबिक 15 नवंबर को फडणवीस की कराड, शिराला, खडकवासला और कस्बा पैठ में रैली प्रस्तावित है.
14 नवंबर को फडणवीस ने मोदी के साथ छत्रपति संभाजीनगर और दादर की रैली में शामिल हुए. वहीं इस दिन फडणवीस ने 3 से ज्यादा मीडिया को इंटरव्यू दिया.
13 नवंबर को फडणवीस ने काटोल, नारखेड, कोंढली, नांदेड़ में रैली की. फडणवीस अपनी रैली में महायुति के कामों को गिनाने के साथ-साथ फिर से बीजेपी सरकार बनाने की मांग कर रहे हैं.
शिंदे भी कर रहे 4 ही रैली
शिवसेना (यूबीटी) के एकनाथ शिंदे भी हर रोज 4 ही रैली कर रहे हैं. 14 नवंबर को एकनाथ शिंदे पीएम मोदी के साथ छत्रपति संभाजीनगर और दादर की रैली में शामिल हुए. इसके अलावा शिंदे ने 2 रैली मिलिंद देवड़ा के समर्थन में की.
13 नवंबर को एकनाथ शिंदे ने कलबा-मुंब्रा, डॉबिवली, कल्याण ग्रामीण और कल्याण पश्चिम में रैली की. शिंदे मुख्य रूप से ठाणे और मुंबई में ही रैली कर रहे हैं. इसकी वजह उनकी पार्टी को इन्हीं इलाकों में अधिकांश सीटें मिलना है.
नाना भी हर रोज कर रहे 4 रैली
महाराष्ट्र कांग्रेस के अध्यक्ष नाना पटोले भी हर रोज 4 रैलियां कर रहे हैं. 14 नवंबर को मुंडीकोटा, महागाव, बोंडगाव देवी और अर्जुनी में रैली की. नाना अधिकांश रैली विदर्भ क्षेत्र में कर रहे हैं. यहां पर कांग्रेस का सीधा मुकाबला भारतीय जनता पार्टी से है.
13 नवंबर को नाना ने यवतमाल, भंडारा पवनी, नागपुर दक्षिण-पश्चिम और नागपुर दक्षिण सीट पर रैली की. नाना हर रैली में पवार, गांधी और ठाकरे के 5 वादे जनता को बता रहे हैं.
महाराष्ट्र कांग्रेस के भीतर नाना को सीएम पद का दावेदार भी माना जाता है.
इन नेताओं की भी भारी डिमांड
महाराष्ट्र के क्षेत्रीय क्षत्रपों को छोड़ दिया जाए तो कांग्रेस के सचिन पायलट, कन्हैया कुमार और इमरान प्रतापगढ़ी की भी खूब डिमांड है. एनसीपी (शरद) में रोहित पवार भी जमकर रैलियां कर रहे हैं. उद्धव ठाकरे के बेटे आदित्य की भी हर रोज औसतन 3-4 रैली कर रहे हैं.
बात राष्ट्रीय नेता की करें तो पिछले 2-3 दिन से अमित शाह और नरेंद्र मोदी की महाराष्ट्र में लगातार रैली हो रही है. अमित शाह 3 तो नरेंद्र मोदी औसतन 2 रैली महाराष्ट्र में कर रहे हैं. राहुल गांधी और खरगे कांग्रेस की तरफ से मोर्चा संभाल रहे हैं.
– India Samachar
.
.
Copyright Disclaimer :- Under Section 107 of the Copyright Act 1976, allowance is made for “fair use” for purposes such as criticism, comment, news reporting, teaching, scholarship, and research. Fair use is a use permitted by copyright statute that might otherwise be infringing., educational or personal use tips the balance in favor of fair use.
यह पोस्ट सबसे पहले टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम पर प्रकाशित हुआ , हमने टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम के सोंजन्य से आरएसएस फीड से इसको रिपब्लिश करा है, साथ में टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम का सोर्स लिंक दिया जा रहा है आप चाहें तो सोर्स लिंक से भी आर्टिकल पढ़ सकतें हैं
The post appeared first on टीवी नाइन हिंदी डॉट कॉम Source link