Greater Noida West:
ग्रेटर नोएडा वेस्ट क्षेत्र में सफाई व्यवस्था को लेकर बरती गई लापरवाही पर ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने कड़ा रुख अपनाया है। शहर में कूड़ा न उठाने और सफाई के निर्देशों की अनदेखी के मामले में मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) के निर्देश पर प्राधिकरण की अपर मुख्य कार्यपालक अधिकारी (एसीईओ) श्रीलक्ष्मी वीएस ने कई अधिकारियों और कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की है।
शिकायतों के बाद हुई जांच
ग्रेटर नोएडा वेस्ट के सेक्टर-3 और नॉलेज पार्क-5 सहित कई क्षेत्रों में कूड़ा-कचरा न उठाने, गड्ढों में आग लगाने और सफाई व्यवस्था में लापरवाही की शिकायतें रहवासियों ने सीईओ के पास दर्ज कराई थीं। जांच में यह पाया गया कि निर्देशों के बावजूद संबंधित अधिकारियों और कर्मचारियों ने अपनी जिम्मेदारियों का पालन नहीं किया।
इन पर हुई कार्रवाई
- सहायक प्रबंधक मनोज चौधरी: उनसे स्पष्टीकरण मांगा गया है और उनका एक माह का वेतन रोक दिया गया है।
- सेनेटरी इंस्पेक्टर संजीव विधूड़ी: उनसे भी स्पष्टीकरण मांगा गया है और उनका 18 नवंबर तक का वेतन काटने का आदेश दिया गया है।
- प्रबंधक संध्या सिंह और दिव्या चौधरी: दोनों से सफाई में लापरवाही के लिए स्पष्टीकरण मांगा गया है।
- सुपरवाइज़र इंद्र और प्रिंस: इन दोनों को स्वास्थ्य विभाग में अटैच कर दिया गया है।
सख्ती से लागू होंगे निर्देश
एसीईओ श्री लक्ष्मी वीएस ने यह साफ किया है कि सफाई व्यवस्था में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। संबंधित अधिकारियों को पहले ही निर्देश दिए गए थे कि सफाई व्यवस्था में सुधार लाएं, लेकिन उनके निर्देशों की अनदेखी की गई। इसके परिणामस्वरूप यह कार्रवाई की गई है।
रहवासियों की नाराजगी
ग्रेटर नोएडा वेस्ट के निवासियों ने कूड़ा न उठाए जाने और साफ-सफाई में लापरवाही को लेकर अपनी नाराजगी जाहिर की थी। उनका कहना है कि नियमित सफाई न होने से स्वच्छता और पर्यावरण को नुकसान हो रहा है।
आगे की योजना
प्राधिकरण ने स्पष्ट किया है कि भविष्य में सफाई व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए सख्त कदम उठाए जाएंगे। इसके साथ ही सभी जिम्मेदार अधिकारियों और कर्मचारियों को निर्देश दिए गए हैं कि सफाई से जुड़ी समस्याओं का तत्काल समाधान करें। यह कार्रवाई दर्शाती है कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण शहर की स्वच्छता और रहवासियों की शिकायतों को गंभीरता से ले रहा है।
Copyright Disclaimer Under Section 107 of the Copyright Act 1976, allowance is made for “fair use” for purposes such as criticism, comment, news reporting, teaching, scholarship, and research. Fair use is a use permitted by copyright statute that might otherwise be infringing. Non-profit, educational or personal use tips the balance in favor of fair use.
सौजन्य से ट्रिक सिटी टुडे डॉट कॉम
Source link